बम बनाते हुए मोहम्मद के घर ही फट गया बम | मकान के परखच्चे उड़े, पड़ोसियों के घर भी क्षतिग्रस्त | वीडियो देखें

दिलदहला देने वाली एक घटना बिहार के दरभंगा इलाके से आ रही है। बताया जा रहा है की दरभंगा के आज़मनगर मोहल्ला में मो. नजीर नदाफ के घर में यह घटना हुई है।
यह घटना शुक्रवार दोपहर सवा दो बजे की है जब घर में ही बम विस्फोट हो गया। इससे पूरा का पूरा इलाका दहल उठा। करीब तीन किमी के दायरे में धमाके की आवाज सुनी गई। घटना के बाद चारो तरफ अफरातफरी मच गई। बम की बेहद तेज़ आवाज़ से लोगो में डर पैदा हो गया। लोग अपने घरों से बाहर निकलकर भागने लगे।

रिपोर्ट्स की माने तो बताया जा रहा है की इस घटना में मोहम्मद नजीर के तीन बच्चे गंभीर रूप से जख्मी हो गए हैं। मोहम्मद नज़ीर का मकान पूरी तरह से बिखर कर जमींदोज़ हो गया। इतना ही नहीं आसपास के घरों को भी क्षति पहुंची है। लोगों की मदद से नजीर के तीनों बच्चों को मलबे में से निकालकर अस्पताल ले जाया गया है।

लेकिन इस घटना के बाद से नजीर और उसकी पत्नी अफशाना खातून अपने जख्मी बच्चो को छोड़ मौका-ए-वारदात से फरार हो गए। जख्मी बच्चों में मोहम्मद नजीर का पुत्र शमशाद (11), साहिल (6) और पुत्री नजराना (11) शामिल हैं। इसमें शमशाद की स्थिति नाजुक है। मोहम्मद नज़ीर और उसकी बीवी को पुलिस ने अपनी गिरफ्त में ले लिया है।

स्थानीय लोगों के हुई पूछताछ में यह बात सामने आ रही है कि, नजीर ने अपने घर को बम बनाने के कारखाने में तब्दील कर दिया था। मोहम्मद नज़ीर से बम बनाते हुए कोई चुक हो गयी इस वजह से विस्फोट हुआ। इससे आस-पास के चार घर गिर पड़े। एक दर्जन लोगों के मकान क्षतिग्रस्त हो गए। पास के दो बड़े पेड़ भी गिर पड़े।

धमाका इतना जोरदार था कि नजीर के घर से बक्से सहित ढेरों सामान उड़कर दूसरे लोगों के घर पर जा गिरे। घटना के बाद लोग आक्रोशित हो गए। आसपास में सुतली लपेटे कई बम मिले। केन बम में इस्तेमाल होने वाले दो प्लेट भी मिले। इसके अंदर से बारूद की गंध वाला धुआं निकल रहा था।

डीएम डॉ. त्यागराजन एसएम ने मामले की जांच शुरू कर दी है। पुलिस ने मोहम्मद के संग और तीन लोगों को गिरफ्त में ले लिया है और उसके घर से पटाखा बनाने के कई सामान भी मिले हैं। पुलिस कि जाँच में यह बात भी सामने आयी है कि मोहम्मद अवैध तरीके से बम बनाता था और चाट दिवाली में बेचता भी था।

इस घटना पर रफीक़ सदानी जी की कुछ पंक्तियाँ याद आती है …
कि

बुरे काम का बुरा नतीज़ा भीतर से मन बोला
पाय गए जब नोट के गड्डा तन डोला मन डोला
सर्वनाश के खातिर बनयेन कुछ लोगै हाथ गोला
ओनहिन के हथवएँ में दगि गय होई गएँ उड़न खटोला ..

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